"अंधे पीसे कुत्ते खाएं फर्जी नौकरी से करोड़ों अर्बो लूटते जाएं" !

"अंधे पीसे कुत्ते खाएं फर्जी नौकरी से करोड़ अर्बो लूटते जाएं"! यह खोजी पत्रकारिता की तीसरी किस्त है। वन मंडल अधिकारियों की फर्जी नियुक्ति मध्य प्रदेश राज्य वन सेवा आयोग द्वारा असंवैधानिक ढंग से की गई है, और वन विभाग के उच्च अधिकारी फर्जी नौकरी वाले पर दबाव बनाकर लाखों करोड़ों रुपए चाहे जब फर्जीवाड़ा से कमाकर भोपाल तक रिश्वत अधिकारियों को कमीशन के तौर पर देते जा रहे हैं, यह आरोप इसलिए लगाया जा रहा है कि आयोग ने गलती किया यह सत्यनारायण प्रजापति मंडल अधिकारी ने किया है। तो क्या उच्च अधिकारी के पास आंख नहीं है? उच्च अधिकारी फर्जी एसडीओ से प्रतिमाह लाभान्वित हो रहे हैं। और ये अधिकारी रिटायर्ड होकर पेंशन ले रहे हैं। यह ( अंधो का पीसना और कुत्तों का खाना) जैसी कहावत राष्ट्रीय भाषा हिंदी साहित्य में मशहूर कहावत है। उक्त एसडीओ वन विभाग जिला पलामू झारखंड राज्य से आकर आंख में धूल डालकर, फर्जी नियुक्ति लेकर रिटायर्ड हो रहा है। शासन प्रशासन इस पर कोई कार्यवाही नहीं कर रहे हैं। इससे वन के कर्मचारी उच्च अधिकारियों को कमिशनखोर एवं असली चोर बता रहे हैं। एक बेरोजगार योग्य पात्र को हटाकर, एक परिवार का सुख छीन कर कानून को धोखा दिया, शासन को धोखा दिया और प्रशासन "झकमारता" रह गया है। इसमें वन विभाग के माध्यम से सभी लूटमलाट की बीमारी पर भौं -चक्के जैसे देख कर दर्शक वन कर्मचारी अपने माथे को ठोक रहे हैं। चोर चोर और डाकू डाकू सब मोसेरे भाइयों ने शासन - प्रशासन को अंधत्व का शिकार बना डाला है। यह तीसरी किस्त है जो शासन प्रशासन के माध्यम से जनता को चूस रहा है। भ्रष्टाचार्यों के बड़े-बड़े प्रकरण समाचार में छा जाते है। इसमें जिम्मेदार की नाक को शर्म तक नहीं आती है। जनता इन्हें आसमान वाले की दुहाई देखकर फरियाद कर रही है। इसमें जनता का दिल ऊपर वाले को याद करने का लाभ और चर्चा में भ्रष्टाचार से देश की खटिया खड़ी करने वालों की चर्चा कर रही है क्या हम सुपर पावर ऐसे भ्रष्टाचारों से बन पाएंगे? नहीं तो शीघ्र तीनों प्रकरण पर अविलंब कार्यवाही करें यह राष्ट्रहित सर्वोपरि है। अब तक तीन फर्जी युक्ति से अर्बो -अर्बो रुपए की हानी हो रही है। जनता का कहना है, उन्हें बर्खास्त करो , जो शासन सेवार्थ के विपरीत अपने स्वार्थ में जी रहे हैं। जनता की चर्चित मांग है। कि देश के गद्दारों को शीघ्र सेवा मुक्त करते हुए कठोर कार्यवाही भी जनता की चर्चित मांग ध्यान देने योग्य है। बने रहे आगामी समाचार डीडी इंडिया न्यूज़ के साथ ( जिला ब्यूरो चीफ सुशील चौरसिया की रिपोर्ट)

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